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67 : क्या आप भी 6–7 मीम के चक्कर में फंसकर पका चुके हैं अपना दिमाग? Gen Alpha के नए स्लैंग को समझें

14/12/2025
67 : क्या आप भी 6–7 मीम के चक्कर में फंसकर पका चुके हैं अपना दिमाग? Gen Alpha के नए स्लैंग को समझें
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6–7 : शायद ही कोई ऐसी पीढ़ी होगी, जो अपने से आगे वाली पीढ़ी को ठीक से समझती होगी और उन्हें सही मानती होगी. इस स्थिति को ही जेनरेशन गैप कहा जाता है. आज के नए जेनरेशन और उनके माता–पिता के बीच भी ऐसी ही स्थिति देखने को मिलती है, जब 6–7 मीम उनके सामने आता है. यहां जरूरी यह है कि नए जेनरेशन को समझा जाए, ना कि उनकी बुराई की जाए, तभी समाज और परिवार सही तरीके से चल सकता है.

6–7 : Gen Z के बाद अब Gen Alpha ने भी अपना जलवा दिखाना शुरू कर दिया है और इनके पैंतरों से उनके माता–पिता जो जेनरेशन एक्स का प्रतिनिधित्व करते हैं, उनका दिमाग घूम जाता है. दरअसल यहां बात हो रही है उस जेनरेशन गैप की,जो हमेशा से दो पीढ़ियों के अंतर चाहे वो बोलचाल का हो, रहन–सहन, खानपान का हो या फिर विचारों का हो साफ दिखता है. Gen Alpha का एक नया स्लैंग या जिसे उनके बोलचाल का नया तरीका कह सकते हैं, वो काफी चर्चा में है और उसका अर्थ जानने के लिए बच्चों के माता–पिता और टीचर्स भी परेशान हैं. इस आर्टिकल में हम ऐसे ही एक स्लैंग 6–7 की चर्चा कर रहे हैं, तो आइए समझते हैं.

क्या है 6–7?

6–7 मीम की शुरुआत 2024–25 में TikTok और Instagram Reels से हुई. एक रैपर स्क्रिला ने अपने साॅन्ग डाॅट–डाॅट में इसका इस्तेमाल किया था, जो मीनिंग लेस था. उसके बाद कुछ रैंडम वीडियो में गिनती के बीच 6–7 बोला गया. इसका कोई अर्थ नहीं है, यह मीनिंग लेस स्लैंग है, जिसे मजाकिया अंदाज में बेवजह बोला जाता है, ताकि लोग हंसे. जैसे कोई सीरियस क्लास चल रही हो और सबकुछ बोझिल सा लग रहा हो, तो अचानक क्लास का एक बच्चा जोर से बोल पड़े 6–7. 6–7 स्लैंग की शुरुआत तो वैसे जेन जी ने की है, लेकिन यह प्रचलित ज्यादा जेन अल्फा के बीच है. वे बेवजह हंसने और दूसरों को फंसाने के लिए 6–7 स्लैंग का प्रयोग करते हैं. जैसे ही वे 6–7 बोलते हैं, उनके माता–पिता और उनके आसपास के लोग इसका अर्थ समझने की कोशिश करते हैं. वे यह जानने की कोशिश करते हैं कि आखिर उनका बच्चा बोल क्या रहा है. उनका ब्रेन राॅट करना ही दरअसल जेन अल्फा का मकसद है.

6–7 मीम पैरेंट्‌स को परेशान और बच्चों को खुश क्यों कर रहा?

6–7 मीम से पैरेंट्‌स इसलिए परेशान हैं, क्योंकि वे अबतक यह समझ नहीं पा रहे हैं कि इसका अर्थ क्या है. इसके साथ ही उनकी परेशानी यह है कि वे इसे अपने इगो से जोड़ रहे हैं और उनके बच्चे उन्हें कंफ्यूज कर देते हैं. बच्चे एक तरह से 6-7 को अपना कोडवर्ड समझते हैं और पैरेंट्‌स के सामने 6–7 बोलकर हंसते हुए निकल जाते हैं और वे कुछ कर नहीं पाते हैं. 

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वहीं Gen Alpha को इस बात की खुशी है कि उनके पास ऐसा कुछ है, जिसकी मदद से वे अपने पैरेंट्‌स का मजाक बना सकते हैं और जिस बात पर उनके पैरेंट्‌स उन्हें कुछ कर भी नहीं पा रहे हैं. इस सोच से Gen Alpha के ईगो को भी सेटिस्फेक्शन मिल रहा है.

कौन है 6–7 मीम का क्रियेटर Gen Z या Gen Alpha?

6–7 मीम का प्रयोग ज्यादातर स्कूल के बच्चे कर रहे हैं. यह एक तरह का क्लासरूम स्लैंग हैं. हालांकि इस स्लैंग के क्रियेटर Gen Z हैं और इसके यूजर Gen Alpha हैं, जिन्होंने इसे वायरल कर दिया है.  वे इसका प्रयोग ज्यादातर खुद से बड़े लोगों को कंफ्यूज करने के लिए करते हैं. कई रैपर साॅन्ग में भी 6–7 मीम का प्रयोग किया गया है, जिसमें से स्क्रिला का डाॅट–डाॅट गाना बहुत मशहूर है.

Gen Z और Gen Alpha Slangहिंदी अर्थकब / कैसे बोला जाता है
6-7कोई मतलब नहींअचानक मजाक, कन्फ्यूजन के लिए
Brain Rotदिमाग पकाना, बकवासबहुत ज्यादा बेकार कंटेंट देखने पर
NPCबिना सोचे चलने वालाजो बस ट्रेंड फॉलो करे
Skull बहुत ज्यादा हंसी आनाकुछ बहुत ज्यादा फनी हो
Bro / Bruhभाई / अरे यारहैरानी, गुस्सा, मजाक
Midठीक-ठाक / बेकारजब कुछ खास न हो
Wजीत / बढ़ियाकिसी अच्छी चीज पर
Lहार / फेलकिसी गड़बड़ी पर
Susशकी / गड़बड़जब कुछ सही न लगे
Deluluभ्रम में जीनाहकीकत से दूर सोच
Gyattजोर का रिएक्शनशॉक या हैरानी में
Rizzइंप्रेस करने की कलास्टाइल / बात करने की स्किल
Sheeshअरे वाहतारीफ या शॉक
Low-keyथोड़ा-सा / अंदर-ही-अंदरहल्की भावना जताने में

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Rajneesh Anand

लेखक के बारे में

Rajneesh Anand

Contributor

इलाहाबाद विश्वविद्यालय से स्नातक. प्रिंट एवं डिजिटल मीडिया में 20 वर्षों से अधिक का अनुभव. राजनीति,सामाजिक मुद्दे, इतिहास, खेल और महिला संबंधी विषयों पर गहन लेखन किया है. तथ्यपरक रिपोर्टिंग और विश्लेषणात्मक लेखन में रुचि. IM4Change, झारखंड सरकार तथा सेव द चिल्ड्रन के फेलो के रूप में कार्य किया है. पत्रकारिता के प्रति जुनून है. और पढ़ें

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